भोपाल । बिजली के दाम बढ़ाने के खिलाफ आम लोगों और संगठनों ने आपत्ति लगाई। मप्र विद्युत नियामक आयोग को आपत्ति भेज दी गई। अब इस मामले में 8 और 10 फरवरी को जनसुनवाई होगी।
ज्ञात हो कि बिजली कंपनी ने मप्र विद्युत नियामक आयोग में याचिका लगाई है। जिस पर 8 और 10 फरवरी को जनसनुवाई का आयोजन किया गया है। इससे पूर्व आयोग ने प्रदेश के उपभोक्ताओं से इस संबंध में आपत्ति बुलाई है। 21 जनवरी तक ये आपत्तियां जमा करनी है जिसके जवाब बिजली बिजली कंपनी की ओर से आयोग को भेजे जाएंगे। अभी मप्र विद्युत नियामक आयोग सभी आपत्ति को एकजाई कर उन्हें बिजली वितरण कंपनी के पास जबाव तैयार करने के लिए भेजेगा। जहां से सीधे उपभोक्ता को आपत्ति से जुड़ी बातों का जबाव भेजा जाएगा। इस आपत्ति पर मिले जवाब पर यदि उपभोक्ता असंतुष्ट होता है तो वह मप्र विद्युत नियामक आयोग की जनसुनवाई में इस पर बात कर सकता है। बता दे कि पिछले सालों में हुई जनसुनवाई में आपत्तिकर्ताओं की शिकायत थी कि उन्हें आपत्ति लगाने के बाद जवाब जनसुनवाई के दिन या उससे कुछ घंटे पूर्व ही दिया जाता है जिस वजह से उनकी तैयारी नहीं हो पाती है।
शिकायतकर्ता राजेंद्र अग्रवाल ने बताया कि उनके पास आपत्ति के बिंदुओं को जवाब विलंब से आया था इस वजह से उसका अध्ययन करने के बाद जवाब बनाने में वक्त लगा। उनके अनुसार बिजली वितरण कंपनी को जनसुनवाई के करीब हफ्तेभर पूर्व ही जबाव भेज देना चाहिए ताकि उसका विस्तृत अध्ययनकर आपत्तिकर्ता अपनी बात विस्तार से मप्र विद्युत नियामक आयोग के समक्ष रख सके। इसके अलावा अभियंता संघ, किसान संघ, महाकोशल उद्योग संघ के पदाधिकारियों ने भी इस संबंध में देरी से आपत्ति की जवाब मिलने की बात स्वीकार्य की थी।