मांडू ।     मांडू आकर हमें ऐसा लगा जैसे यहां इतिहास फैला पड़ा हो। हमारे नजरिए से यह वर्ल्ड क्लास हेरिटेज सिटी है। मांडू वेल मेंटेंड और हाइजिनिक सिटी भी लगी। यहां की आबोहवा सुकून देती है। आने वाले समय में मांडू दुनिया का एक बड़ा टूरिस्ट डेस्टिनेशन बनेगा मुझे ऐसा आभास हो रहा है। यह बात इंदौर प्रवासी भारतीय सम्मेलन में हिस्सा लेने आए दुबई के सुधन दास और कुवैत के गंगाधर ने मांडू भ्रमण किए यह दोनों मूल रूप से भारत के कर्नाटक राज्य के उडुपी शहर के रहने वाले हैं। उन्होंने कहा कि उन्होंने कहा कि भारत आज विश्व में शक्तिशाली देशों की गिनती में शुमार हो गया है और हमें यह कहने में गर्व होता है कि हम भारतीय हैं। विदेशी लोगों का नजरिया भी भारतीय मूल के लोगों के प्रति आप बदला है।

मांडू को विश्व स्तर पर करेंगे प्रमोट

दोनों ही प्रवासी भारतीय मेहमानों ने कहा कि मांडू की हमें यह जानकर हैरानी हुई कि यहां केंद्रीय पुरातत्व विभाग के 71 और राज्य पुरातत्व विभाग के 14 स्मारक हैं। यहां प्राकृतिक सौंदर्य भी अद्भुत है। यहां इतिहास फैला पड़ा है, हमने यहां टूरिस्ट गाइड नितिन पाल से यहां के वाटर स्ट्रक्चर की जानकारी ली, जो अद्भुत है। हम हमारी सोसाइटी मैं इस बात की चर्चा करेंगे और इंदौर से लगे मांडू को विश्व स्तर पर प्रमोट करने का प्रयास करेंगे।

मेहमान नवाजी से अभिभूत है मन

सुधन दास और गंगाधर के साथ उनका पूरा परिवार भी मांडू भ्रमण कर रहा है। इंदौर में उनका जो स्वागत और सत्कार हुआ उससे मन अभिभूत है। मांडू आने के बाद यहां स्थानीय संस्कृति के अनुरूप स्वागत हुआ और मेहमान नवाजी हुई। इसके लिए हम सभी का शुक्रिया करते हैं।

वर्ल्ड हेरिटेज सिटी बनना चाहिए

उन्होंने कहा कि मुझे इस बात की जानकारी मिली है कि यूनेस्को की वर्ल्ड हेरिटेज की संभावित सूची में मांडू शामिल है। यहां इस बात को लेकर पूरे प्रयास होने चाहिए। विश्व स्तर पर हम यह प्रयास करेंगे कि मांडू वर्ल्ड हेरिटेज सिटी जल्दी से जल्दी बने। आज हमने यहां रानी रूपमती का महल और जहाज महल देखा है, इतिहास जान सुखद अनुभव मिला।

मांडू आते रहने का किया वादा

सभी प्रवासी भारतीयों ने मांडू भ्रमण के पश्चात यहां से महेश्वर की तरफ अपना रुख किया। उन्होंने कहा कि जितना सुंदर इंदौर का सत्कार लगा उतना ही सुंदर मांडू का इतिहास लगा। हम इस बात का वादा करते हैं कि जब भी अपने देश आएंगे। कुछ समय मांडू के लिए निकालेंगे। कोशिश करेंगे कि कम से कम एक या दो रातें यहां बिताएं। टूरिस्ट गाइड नितिन पाल ने उन्हें मांडू के इतिहास की जानकारी दी मांडू में आगवानी राघवेंद्र सिंह ने की।